रिजर्व बैंक लोकपाल चंडीगढ़ कार्यालय द्वारा जी-20 के तत्वाधान में ‘जनभागीधारी’ के तहत एक टाउनहॉल कार्यक्रम का किया गया आयोजन
पंचकूला, 13 मार्च- रिजर्व बैंक लोकपाल चंडीगढ़ कार्यालय द्वारा पश्चिमी कमान, चंडीमंदिर छावनी, पंचकूला के मानेकशॉ ऑडिटोरियम में एक टाउनहॉल कार्यक्रम आयोजित किया गया।
इस कार्यक्रम का आयोजन जी-20 के तत्वाधान में ‘जनभागीधारी’ के तहत किया गया। यह कार्यक्रम पश्चिमी कमान और भारतीय स्टेट बैंक के अधिकारियों के सहयोग से आयोजित किया गया, जिसमें लगभग 400 व्यक्तियों ने भाग लिया था। कार्यक्रम का उद्देश्य प्रतिभागियों को रिजर्व बैंक एकीकृत लोकपाल योजना (आरबी-आईओएस) 2021 के बारे में जागरूक करना था, जोकि बैंकों, गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों, भुगतान प्रणाली प्रतिभागियों और क्रेडिट सूचना कंपनियों के ग्राहकों को विनियमित संस्थाओं की सेवाओं में कमी होने पर लागत मुक्त निवारण का अवसर प्रदान करती है।
कार्यक्रम में वक्ताओं ने प्रतिभागियों को बताया कि ग्राहक द्वारा शिकायत के लिए अपनी विनियमित इकाई को संपर्क करना अनिवार्य है और यदि विनियमित इकाई शिकायतकर्ता की शिकायत को संतोषजनक ढंग से हल करने में असमर्थ होती है, तो शिकायतकर्ता रिजर्व बैंक से संपर्क कर सकता है और https://cms.rbi.org.in के माध्यम से शिकायत प्रबंधन (सीएमएस) पोर्टल पर अपनी शिकायत ऑनलाइन दर्ज कर सकता है। वक्ताओं ने यह भी बताया कि शिकायतकर्ता अपनी शिकायत भौतिक रूप से भी केंद्रीकृत रसीद और प्रसंस्करण केंद्र, भारतीय रिजर्व बैंक, सेक्टर 17, चंडीगढ़ को भी भेज सकते हैं। उन्होंने बताया कि आरबी-आईओएस के बारे में अधिक जानकारी रिजर्व बैंक के टोल फ्री नंबर 14448 से प्राप्त की जा सकती है। इस आयोजन में प्रतिभागियों को विनियमित संस्थाओं से वित्तीय सेवाओं का लाभ उठाते समय उनके अधिकारों और कर्तव्यों के बारे में भी अवगत कराया गया।
उन्होंने प्रतिभागियों से अनुरोध किया कि वित्तीय लेनदेन करते समय सोच-समझ कर निर्णय लें चाहे वह जमा उत्पादों से संबंधित हो या क्रेडिट उत्पादों से। प्रतिभागियों से वित्तीय लेनदेन में क्रेडिट अनुशासन बनाए रखने का भी अनुरोध किया गया। इस आयोजन में, डिजिटल लेनदेन करते समय आवश्यक सावधानी बरतने के लिए प्रतिभागियों को संवेदनशील किया गया।
वक्ताओं ने प्रतिभागियों को डिजिटल लेनदेन धोखाधड़ी से खुद को बचाने के लिए अपने खाते और कार्ड के विवरण गोपनीय रखने के लिए बताया गया। प्रतिभागियों को जागरूक किया गया कि वे किसी भी परिस्थिति में अपने बैंक खाता संख्या, क्रेडिट/डेबिट कार्ड विवरण सहित सीवीवी, एटीएम पिन, ओटीपी आदि को किसी के साथ साझा न करें। प्रतिभागियों से अनुरोध किया गया कि वे केवाईसी अपडेट, बिजली बिल भुगतान, मोबाइल कनेक्शन उन्नयन आदि पर प्राप्त होने वाले फर्जी फोन कॉल, एसएमएस और ईमेल से सावधान रहें और उन्हें फोन या ईमेल पर या अन्यथा बैंक खाते/कार्ड विवरण और ओटीपी, आदि साझा नहीं करना चाहिए। उन्होंने प्रतिभागियों से विशेष रूप से अनुरोध किया कि वे अपने एटीएम कार्ड और एटीएम पिन को हर समय सुरक्षित रखें।
वक्ताओं ने उल्लेख किया कि केवल विनियमित संस्थाओं की अधिकृत वेबसाइट और संपर्क नंबरों का ही उपयोग किया जाना चाहिए। कार्यक्रम में भारतीय रिजर्व बैंक और भारतीय स्टेट बैंक के अधिकारियों के अलावा, रिजर्व बैंक के लोकपाल श्री राजीव द्विवेदी ने भी प्रतिभागियों को संबोधित किया।