IGNOU extends Fresh Admission (except for Semester-based and Certificate Programme) & Re-Registration up to 30 th September, 2025

पराली जलाने होने वाले दुष्प्रभावों के प्रति किसानों को जागरूक करने के लिऐ जिला के गांवो में चलाया जागरूकता अभियान

For Detailed

पचंकूला, 12 अक्तूबर- कृषि विभाग द्वारा पराली जलाने होने वाले दुष्प्रभावों के प्रति किसानों को जागरूक करने के लिए जागरूकता वाहन द्वारा किसानों को जागरूक किया गया।


उप कृषि निदेशक, श्री सुरेन्द्र सिंह ने बताया कि जिन गांवों में जागरूकता अभियान चलाया गया उनमें गांव प्यारेवाला, हरिपुर, गढ़ीकोटाहा, बागवाला, खेरवाला, भोजराजपुरा, ढण्डारडु, खेड़ी, कोट, टाबर व बटवाल गांव में किसान प्रशिक्षण शिविरों का आयोजन किया गया है। स्कुली बच्चों के माध्यम से पराली जलाने होने वाले दुष्प्रभावों का संदेश जन-जन तक पहुचानें के लिए गांव कोट, भोज राजपुरा, खेड़ी, जलोली, नानकपुर, रायपुर रानी, बिल्ला, गोबिन्दपुर, भुड़, बरवाला, बतोड़ व ढण्डारडु गांवों के स्कुलों में बच्चों के जागरूक किया गया। इसी प्रकार टपरियां, खेरवाली पारवाला, ़ित्रलोकपुर, गणेशपुर, खेतपराली, बुंगा, डब्बकोरी, सबीलपुर, टिब्बी, सुखदर्शनपुर, खटोली, बटवाल, ढण्डारडु, बरवाला, संगराणा, भरेली, भगवानपुर, बतौर, गढ़ीकोटहा, रहेना, हंगोली, हंगोला, प्यारेवाला, समनवा, ठरवा, बागवाली व ककराली शामिल हैं। उन्होंने बताया कि पराली जलाने होने वाले दुष्प्रभावों के प्रति जागरूक करने के लिए उक्त गतिविधियां पुरे माह के दौरान जारी रहेगी।


उन्होंने बताया कि जिले में धान की कटाई जारी है कम्बाईन हारवैस्टर से धान की कटाई उपरान्त धान के फानों में आग लगाने से भूमि में मौजूद आवश्यक कार्बन तत्व, सूक्ष्म पोषक तत्व व जीवाणु नष्ट हो जाते हैं जिससे भूमि की उर्वरा शक्ति नष्ट हो जाती है। आग लगाने से उत्पन्न धुऐं से दिल व फेंफड़ों की बीमारियों की सम्भावना बनी रहती है जिससे अस्थमा इत्यादि बिमारी हो जाती है। आग से पर्यावरण में मौजूद आॅक्सीजन की कमी भी जो जाती है। प्रायः कई बार देखने में आया है कि आग से जान व माल का भारी नुकसान भी हो जाता हैं।


उन्होंने बताया कि फसल अवशेष जलाने से होने वाले दुष्प्रभावों को देखते हुए माननीय् उच्चतम न्यायालय व राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण द्वारा दिशा निर्देश जारी किए हैं। यदि किसी किसान द्वारा फसल अवशेष जलाए जाते हैं तो उससे जुर्माने के रूप में 2500/़-रू से 15000/-रू तक का जुर्माना वसूल किया जाता है व दोषी के विरूद्ध कानुनी कार्यवाही का भी प्रावधान है।

propertyliquid.com/