हरियाणा विधानसभा अध्यक्ष ने महर्षि वाल्मिकी चैक सेक्टर-14 का किया विधिवत उद्घाटन
-यह चैक समरसता, एकता व भाईचारे का देगा संदेश
-वाल्मिकी भवन सेक्टर-12 के निर्माण के लिये अपने स्वैच्छिक कोष से 11 लाख रुपये देने की करी घोषणा
-वाल्मिकी समाज के मैरिट में आने वाले पांच बच्चों को अश्विनी गुप्ता ममोरियल ट्रस्ट की ओर से प्रतिवर्ष 11-11 हजार रुपये देने की करी घोषणा
पंचकूला, 9 अक्तूबर- हरियाणा विधानसभा अध्यक्ष श्री ज्ञानचंद गुप्ता ने आज महर्षि वाल्मिकी चैक सेक्टर-14 का विधिवत उद्घाटन किया। उन्होंने कहा कि ये चैक पंचकूला निवासियों और यहां आने वाले सभी लोगों को समरसता, एकता व भाईचारे का संदेश देगा। इसके उपरांत श्री गुप्ता ने सेक्टर-14 नगर निगम पार्किंग में महर्षि वाल्मिकी प्रकट दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में मुख्यातिथि के रूप में शिरकत की। इस अवसर पर उन्होंने महर्षि वाल्मिकी भवन सेक्टर-12 के निर्माण के लिये अपने स्वैच्छिक कोष से 11 लाख रुपये की राशि देने की घोषणा की।
इस अवसर पर नगर निगम महापौर श्री कुलभूषण गोयल और बवानी खेडा के विधायक श्री बिशम्बर वाल्मिकी भी उपस्थित थे।
अपने संबोधन में श्री गुप्ता ने कहा कि आज देशभर में भगवान वाल्मिकी की जयंती धूमधाम से मनाई जा रही है। उन्होंने कहा कि महर्षि वाल्मिकी संस्कृत रामायण के रचिता और आदिकवि रूप में विख्यात थे। उनके द्वारा संस्कृत में रामायण की रचना वाल्मिकी रामायण के नाम से जानी गई। रामायण एक महाकाव्य है जो राम के जीवन के माध्यम से समाज को सत्य व कत्र्तव्य का बोध कराता हैं। प्रथम संस्कृत महाकाव्य की रचना करने के कारण महर्षि वाल्मिकी आदि कवि कहलाये। उन्होंने कहा कि भगवान वाल्मिकी ने रामायण की रचना संस्कृत के 24 हजार श्लोको के लिखकर की। आज हर हिंदु परिवार रामायण के आदर्शों का अनुसरण कर रहा है। अपने महाकाव्य रामायण में महर्षि ने सूर्य, चंद्र तथा अन्य नक्षत्रों का विस्तार से वर्णन किया है। ऐसा प्रतीत होता है कि महर्षि वाल्मिकी ज्योतिष विद्या व खगोल विद्या के भी प्रकंड ज्ञानी थे।
उन्होंने कहा कि श्री राम के वनवास के दिनों वे भगवान वाल्मिकी के आश्रम में गये। महर्षि को श्रीराम के जीवन में घटित प्रत्येक घटना का पूर्णत ज्ञान था। भगवान वाल्मिकी को सतयुग और द्वापर, त्रेता तीनों कालो के कारण सृष्टिकर्ता की भी संज्ञा दी जाती है। उन्होंने कहा कि महाभारत काल में भी भगवान वाल्मिकी का वर्णन मिलता है। जब पांडव महाभारत का युद्ध जीत कर आये थे और उनकी जीत की खुशी में द्रौपदी यज्ञ करती है, जिसके सफल होने के लिये शंख का बजना जरूरी था पंरतु भगवान कृष्ण सहित सभी के द्वारा प्रयास करने पर भी यज्ञ सफल नहीं होता और भगवान श्री कृष्ण के कहने पर सभी लोगों ने महर्षि वाल्मिकी से प्रार्थना की और महर्षि वाल्मिकी प्रकट हुये और शंख खुद बजने लगा। द्रोपदी द्वारा किया गया यज्ञ शंख बजने से संपूर्ण हो गया।
श्री गुप्ता ने आगे कहा कि संविधान निर्माता डाॅ भीमराव अंबेडकर ने कहा है शिक्षित रहो और संगठित रहो। आज वाल्मिकी समाज को अपने बच्चों को शिक्षा देने की जरूरत है ताकि वे शिक्षित होकर समाज में उच्च पदो पर कार्य कर सके। हरियाणा विधानसभा अध्यक्ष ने वाल्मिकी समाज के लोगों से अपील की कि अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा जरूर दें क्योंकि शिक्षा ग्रहण करने के बाद नशे व दूसरी बुराईयों से वो दूर रहेंगे। उन्होंने वाल्मिकी समाज व सफाई मित्रो का धन्यवाद किया। पंचकूला को साफ व स्वच्छ बनाने में उनकी लग्न और मेहनत का अहम योगदान है।
हरियाणा विधानसभा अध्यक्ष ने नगर निगम द्वारा वाल्मिकी समाज के पांच बच्चों आदित्य, लक्ष्य, अंजू, सौरभ व अपर्णा को 2100-2100 रुपये का चैक और वाल्मिकी ट्रस्ट को 21 हजार रुपये का चैक प्रदान किया। उन्होंने वाल्मिकी समाज के मैरिट में आने वाले पांच बच्चों को अश्विनी ममोरियल ट्रस्ट की ओर से प्रतिवर्ष 11-11 हजार रुपये देने की घोषणा की। उन्होंने वाल्मिकी समाज को आश्वासन दिया कि वे आगे भी भवन बनाने के लिये सहयोग करते रहेंगे और उनकी इच्छा है कि वाल्मिकी भवन दूसरे भवनों की तरह भव्य व सुंदर बने।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री के ओएसडी अमरनाथ सौदा, नगर निगम आयुक्त वीरेंद्र लाठर, शिवालिक विकास बोर्ड के वाईस चेयरमैन ओमप्रकाश देवीनगर, ब्रह्माण महासभा के महामंत्री विकास कौशिक, सेवानिवृत आईएफएस श्री बनारसी दास, वाल्मिकी समाज के जिला प्रधान राजेंद्र लौहाट, वरिष्ठ उपप्रधान प्रो. सुशील वेद, नगर निगम पार्षद राकेश वाल्मिकी, राजेश, सोनू बिडला, सोनिया सूद, जय कौशिक, राजकुमार जैन, रितु गोयल, वाल्मिकी समाज के प्रधान राजिंद्र सिंह लोहाट, जनरल सेकटरी हरि प्रकाश, ज्वाईंट सेकटरी रणजीत सिंह, धमेंद्र सिंह सहित अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।