जिला में सूक्ष्म सिंचाई को बढ़ावा देने के लिये शीघ्र ही जिला सिंचाई प्लान (डिस्ट्रिक इरिगेशन प्लान) बनाकर स्वीकृति के लिये भेजा जायेगा-उपायुक्त विनय प्रताप सिंह
पंचकूला 28 जुलाई- उपायुक्त श्री विनय प्रताप सिंह ने कहा कि जिला में सूक्ष्म सिंचाई को बढ़ावा देने के लिये शीघ्र ही जिला सिंचाई प्लान (डिस्ट्रिक इरिगेशन प्लान) बनाकर स्वीकृति के लिये राज्य स्तरीय कार्यान्वयन समिति के पास भेजा जायेगा। उन्होंने कृषि विभाग, बागवानी विभाग व सूक्ष्म सिंचाई और कमान क्षेत्र विकास प्राधिकरण (मिकाडा) को जिला में सूक्ष्म सिंचाई को बढ़ावा देने हेतू सुझाव प्रस्तुत करने के आदेश दिये ताकि उन्हें जिला सिंचाई प्लान में शामिल किया जा सके।
श्री विनय प्रताप सिंह आज यहां लघु सचिवालय के सभागार में जिला स्तरीय कार्यान्वयन समिति की पहली बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। उन्होंने कहा कि जिला स्तरीय सिंचाई प्लान की स्वीकृति के उपरांत जिला में मोरनी, बरवाला व रायपुररानी क्षेत्रों में किसानों को सूक्ष्म सिंचाई अपनाने के लिये प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से व्यापक स्तर पर अभियान चलाया जायेगा।
उन्होंने बताया कि भूमिगत जल में सुधार लाने व अधिक से अधिक कृषि क्षेत्र को सूक्ष्म सिंचाई के अंतर्गत लाने के लिये राज्य सरकार द्वारा जिला स्तरीय कार्यान्वयन समिति का गठन किया गया हैं। इस समिति का उद्देश्य कृषि व बागवानी विभाग द्वारा लागू की जा रही सूक्ष्म सिंचाई योजनाओं का बेहतर क्रियान्वयन सुनिश्चित करना है ताकि किसान अधिक से अधिक इन योजनाओं का लाभ उठा सके।
बैठक में श्री विनय प्रताप सिंह ने जिला में सूक्ष्म सिंचाई के अंतर्गत 100 एकड भूमि पर लगाये गये सूक्ष्म सिंचाई संयत्रों की भौतिक जांच के लिये बागवानी विभाग, सिंचाई विभाग व मृदा संरक्षण विभाग के अधिकारियों की संयुक्त टीम गठित करने के निर्देश दिय। उन्होनंे निर्देश दिये कि यह टीम मोरनी, बरवाला व रायपुररानी में अब तक लगाये गये सूक्ष्म सिंचाई संयत्र जैसे स्परिंक्लर और ड्रीप इत्यादि की जांच करेंगी कि वे कार्य कर रहे है या नहीं और इसकी विस्तृत रिपोर्ट उन्हें दो सप्ताह के अंदर प्रस्तुत करेंगे।
उन्होंने निर्देश दिये कि सूक्ष्म सिंचाई योजना के तहत पंचकूला जिला में उपचारित अपशिष्ट जल का प्रयोग करने के लिये 5 एमएलडी क्षमता के दो सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट कालका व पिंजौर में स्थापित करने के लिये टेंडर आवंटित करने का कार्य दो सप्ताह में पूरा किया जाये। उन्होंने बागवानी विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिये कि वे एक अप्रैल से पहले के ऐसे मामले जिन्हें सूक्ष्म सिंचाई योजनाओं के अंतर्गत अभी तक सबसीडी का लाभ नहीं मिली है, उन्हें मुख्यालय स्तर पर प्राथमिकता के आधार पर देखे ताकि लाभार्थी किसानो ंको शीघ्र से शीघ्र सबसीडी राशि जारी की जा सके।
श्री विनय प्रताप सिंह ने कहा कि पंचकूला जिला में अधिक से अधिक कृषि क्षेत्र को सूक्ष्म सिंचाई के अंतर्गत लाने के लिये सभी संबंधित विभाग आपसी समन्वय से काम करें। उन्होंने कहा कि संबंधित विभागों में आपसी तालमेल के मामलों के लिये जिला परिषद की मुख्य कार्यकारी अधिकारी नोडल अधिकारी होंगी। उन्होंने कहा कि सूक्ष्म सिंचाई राज्य सरकार के प्राथमिकताओं में एक हैं और अधिकारी इस पर पूरी गंभीरता से कार्य करें। उन्होंने कहा कि जिला स्तरीय कार्यान्वयन समिति की बैठक दो या तीन सप्ताह में नियमित अंतराल पर आयोजित की जायेगी।
बैठक में सीईओ जिला परिषद निशु सिंगल, जिला बागवानी अधिकारी अशोक कोशिक, क्षेत्रीय वन अधिकारी मनीर गुप्ता, सिंचाई विभाग के कार्यकारी अभियंता अनुराग गोयल सहित संबंधित विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।