ग्रामीण स्वच्छता के प्रति हों जागरूक, जिला को कचरा मुक्त बनाने में करे सहयोग : उपायुक्त प्रदीप कुमार
स्वच्छ भारत मिशन के दूसरे चरण में जिला को कचरा मुक्त किया जाएगा। मिशन के प्रथम चरण में जिला को खुले में शौच से मुक्त किया गया था। कचरा मुक्त अभियान को सफल बनाने के लिए अब ग्रामीण क्षेत्र में भी एनजीटी के नियमों को लागू किया जाएगा, ताकि लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरूता बढे। इसके साथ ही ग्रामीणों को खुले में कूड़ा न डालने, गंदे पानी की सही निकासी करने आदि के लिए भी जागरूक किया जाएगा।
स्वच्छ भारत मिशन कमेटी के चेयरमैन एवं उपायुक्त प्रदीप कुमार ने बताया कि गांव में लोगों को स्वच्छता को लेकर जागरूक करने के लिए सक्षम युवाओं की ड्यूटी लगाई जाएगी। इस कार्य के लिए 350 सक्षम युवाओं को प्रशिक्षित किया गया है। ये युवा ग्रामीणों को स्वच्छता के महत्व के बारे में लोगों को जागरूक करेंगे। इसके साथ ही ग्रामीणों को गंदे पानी के लिए सोखता गढ्ढे बनाने, गलियों व सड़कों पर कूरड़ी व बनछटी के ढेर न लगाने आदि के लिए भी जागरूक करेंगे। उन्होंने बताया कि अब गांव में भी एनजीटी के नियम लागू होंगे। यदि कोई व्यक्ति गांव में गंदगी या अस्वच्छता फैलाता है, तो उसके खिलाफ नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।
सक्षम युवा सरपंचों के सहयोग से उठवाएंगे कूड़े व बंछटी के ढेर :
उपायुक्त प्रदीप कुमार ने बताया कि गांव में गलियों व सड़कों के दोनों ओर कूड़े (कूरड़ी) व बंछटी के ढेर लगा देना स्वच्छता की दृष्टि से प्रमुख समस्या है। सक्षम युवा ग्रामीणों को इसके लिए जहां जागरूक करेंगे, वहीं सरपंच के सहयोग से सड़कों व गलियों पर लगाई गई कूरडिय़ों व बंछटी के ढेर को हटवाने का काम करेंगे। यदि कोई व्यक्ति इसके लिए बाधा पहुंचाता है, तो उसके खिलाफ नोटिस जारी कर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।
पोलिथीन की जगह जूट व कपड़े थैलों के लिए किया जाएगा प्रेरित :
उपायुक्त ने कहा हकि पोलिथीन अगलनशील होने के कारण यह भूमि के जल स्तर में अवरोध पैदा करता है। बारिश के पानी को जमीन में नहीं जाने देता, जिसके कारण भूमि का जल स्तर दिन प्रति दिन नीचे जा रहा है। इसके अलावा पोलिथीन को जलाने से निकलने वाला धुंआ वायु प्रदूषण फैलाता है। लोगों को सक्षम युवाओं के माध्यम से सामान को लाने व ले जाने के लिए पोलिथीन के थैले की जगह जूट व कपड़े से बने थैले का प्रयोग करने के लिए जागरूक किया जाएगा।
गांव में ही होगा कचरा प्रबंधन, कचरा शैड के लिए भेजे एस्टिमेंट :
स्वच्छ भारत मिशन के जिला समन्वयक सुखविंद्र सिंह बताया कि ग्रामीण क्षेत्र में भी कचरा प्रबंधन किया जाएगा। इसके लिए प्रत्येक गांव में कचरा शैड बनाए जाएंगे। विभाग को इसके लिए एस्टिमेंट बनाकर भेज दिया गया है। उन्होंने बताया कि कचरा शैड के अलावा गंदे पानी की निकासी के लिए सोखता गड्डों का निर्माण किया जाएगा। इस कार्य को पूरा करने के लिए 31 मार्च तक का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।