आदर्श आचार संहिता के दौरान कैश, शराब, हथियार और अन्य चुनाव संबंधी सामग्री पर निगरानी रखने के लिए किया गया उड़न दस्ते व स्थैतिक निगरानी टीमों (एसएसटी ) का गठन- जिला निर्वाचन अधिकारी

आदर्श आचार संहिता के दौरान कैश, शराब, हथियार और अन्य चुनाव संबंधी सामग्री पर निगरानी रखने के लिए किया गया उड़न दस्ते व स्थैतिक निगरानी टीमों (एसएसटी ) का गठन- जिला निर्वाचन अधिकारी

उम्मीदवार, उसके एजेंट, पार्टी कार्यकर्ता की गाडी में 50 हजार रुपये से अधिक नकद राशि ले जाने की नहीं होगी अनुमति

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पंचकूला 10 सितंबर :   उपायुक्त एवं जिला निर्वाचन अधिकारी डॉ यश गर्ग ने बताया कि भारत निर्वाचन आयोग द्वारा हरियाणा विधानसभा आम चुनाव-2024 की घोषणा के साथ ही आदर्श आचार संहिता लागू है। जिला में कैश, शराब, हथियार और अन्य चुनाव संबंधी सामग्री पर निगरानी रखने के लिए उड़न दस्ते व स्थैतिक निगरानी टीमों (एसएसटी) का गठन किया गया है।

   उन्होंने बताया कि चेकिंग के दौरान अगर किसी भी उम्मीदवार, उसके एजेंट या पार्टी कार्यकर्ता की गाडी में 50 हजार रुपये से अधिक नकद राशि या पोस्टर, चुनाव सामग्री, किसी प्रकार की ड्रग्स, शराब, हथियार या उपहार सामग्री, जिसकी कीमत 10 हजार रुपये से अधिक हो और जिसका प्रयोग मतदाताओं को प्रलोभन देने के लिए किया जा सकता हो व किसी वाहन में कोई अन्य अवैध सामान पाया जाता है तो उसे जब्त किया जाएगा।

आदर्श आचार संहिता के दौरान कैश, शराब, हथियार और अन्य चुनाव संबंधी सामग्री पर निगरानी रखने के लिए किया गया उड़न दस्ते व स्थैतिक निगरानी टीमों (एसएसटी ) का गठन- जिला निर्वाचन अधिकारी
आदर्श आचार संहिता के दौरान कैश, शराब, हथियार और अन्य चुनाव संबंधी सामग्री पर निगरानी रखने के लिए किया गया उड़न दस्ते व स्थैतिक निगरानी टीमों (एसएसटी ) का गठन- जिला निर्वाचन अधिकारी

   जिला निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि इस संबंध में लोगों को असुविधा से बचाने और उनकी शिकायतों के निवारण के लिए एक समिति का गठन किया गया है। उन्होंने बताया कि अतिरिक्त उपायुक्त पंचकूला सचिन गुप्ता इस समिति के अध्यक्ष होंगे जबकि जिला परिषद पंचकूला के मुख्य कार्यकारी अधिकारी गगनदीप सिंह, डीईटीसी (जीएसटी) पंचकूला हनीश गुप्ता और खजाना अधिकारी पंचकूला सुनीता पातर इस समिति के सदस्य होंगे।

    उन्होंने बताया कि यह समिति पुलिस या स्थैतिक निगरानी टीमों या उड़नदस्तों द्वारा की गई जब्ती के मामलों का स्वतः संज्ञान लेगी। ऐसे मामले जहां समिति द्वारा पाया जाता है कि जब्ती के खिलाफ कोई एफआईआर/शिकायत दर्ज नहीं की गई है और जहां मानक संचालन प्रक्रियाओं के तहत जब्ती किसी उमीदवार, राजनीतिक पार्टी और चुनाव अभियान  से जुड़ी नहीं है, यह समिति ऐसे व्यक्तियों को बरामद नकदी वापस करने के लिए मौखिक आदेश पारित कर सकती है। उन्होंने कहा कि समिति ऐसे सभी मामलों का संज्ञान लेगी और जब्ती पर भारत चुनाव आयोग द्वारा जारी दिशानिर्देशों के अनुसार  निर्णय लेगी।

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