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सरकारी स्कूल के दसवीं में 80 प्रतिशत से अधिक अंक वाले छात्र टेस्ट पास कर पा सकते हैं सुपर-100 में चयन : उपायुक्त प्रदीप कुमार

सिरसा, 01 मार्च।

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उपायुक्त प्रदीप कुमार ने कहा कि बेहतरीन व उच्च शिक्षण संस्थानों में दाखिला लेने का हर विद्यार्थी सपना देखता है। अभिभावक भी चाहते हैं कि उनके बच्चे उच्च शिक्षा किसी बड़े व बेहतरीन संस्थान में करें। इन संस्थानों में दाखिले के लिए छात्र न केवल कठिन मेहनत करते हैं, बल्कि प्राईवेट स्कूलों के छात्र कोचिंग पर लाखों रुपये भी खर्च करते हैं। सरकारी स्कूलों के छात्रों के इस सपने को साकार करने सुपर-100 कार्यक्रम कारगर साबित हो रहा है। जिला के दो छात्र वर्ष 2018 में कार्यक्रम के तहत नि:शुल्क कोचिंग लेकर आईआईटी व एनआईटी में दाखिल पा चुके हैं। सुपर-100 कार्यक्रम के 2020-22 सत्र में सरकारी स्कूलों के 431 छात्रों का चयन हो चुका है, जिसमें सिरसा जिला के 31 छात्र भी शामिल हैं।


उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा सरकारी स्कूल के छात्रों को आईआईटी व एमईईटी में दाखिले के लिए नि:शुल्क कोचिंग देने के लिए वर्ष 2018 में सुपर-100 कार्यक्रम की शुरूआत की थी। सुपर-100 कार्यक्रम के तहत पहले बैच में ही चयनित 100 छात्रों में से 25 छात्रों का दाखिला आईआईटी व एनआईटी में हुआ। इसमें जिला सिरसा के भी दो छात्र शामिल हैं। कार्यक्रम के तहत नि:शुल्क कोचिंग लेकर राजकीय उच्च विद्यालय मुन्नावाली के छात्र प्रवीण पुत्र सोपत राम का दाखिला आईआईटी दिल्ली व आरोही मॉडल स्कूल कालुआना के छात्र युवराज पुत्र राजाराम का दाखिला एनआईटी कुरुक्षेत्रा में हुआ है।


उपायुक्त ने बताया कि सुपर 100 कार्यक्रम सरकारी स्कूलों के छात्रों के लिए एक ऐसा मंच है जिसकी मदद से वे अपने भविष्य को निखार सकते हैं। उन्होंने बताया कि कार्यक्रम का उद्देश्य छात्रों की प्रतिभा को उजागर कर सही दिशा प्रदान करना है। सुपर 100 कार्यक्रम की शुरुआत वर्ष 2018 में की गई, छात्रों को कोचिंग देने के लिए जिला रेवाड़ी व पंचकूला में शिक्षण संस्थान खोले गए हैं। इसके अलावा सरकार द्वारा दो नए शिक्षण संस्थान करनाल व हिसार में खोलने का निर्णय भी लिया गया है। कार्यक्रम के तहत कक्षा दसवीं में 80 प्रतिशत से अधिक अंक प्राप्त करने वाले सरकारी स्कूलों के छात्रों का टेस्ट के माध्यम से चयन किया जाता है। इन छात्रों को आईआईटी/एनआईटी की कोचिंग नि:शुल्क के दी जाती है।


सुपर-100 से जिला के प्रवीण व युवराज पा चुके आईआईटी व एनआईटी में दाखिला :


सरकार द्वारा आईआईटी, जेईई, नीट आदि परीक्षाओं के लिए सरकारी स्कूलों के छात्रों के लिए नि:शुल्क कोचिंग के लिए सुपर-100 कार्यक्रम की शुरूआत की गई। पहले बैच में ही चयनित विद्यार्थियों में से 25 विद्यार्थियों का चयन आईआईटी व नीट के संस्थानों में हुआ। इन छात्रों में जिला के राजकीय उच्च विद्यालय मुन्नावाली के छात्र प्रवीण पुत्र सोपत राम का दाखिला आईआईटी दिल्ली व आरोही मॉडल स्कूल कालुआना के छात्र युवराज पुत्र राजाराम का दाखिला एनआईटी कुरुक्षेत्रा में हुआ है।
सुपर-100 कार्यक्रम की सराहना करते हुए प्रवीण ने बताया कि वे आईआईटी दिल्ली में दाखिला पाकर बहुत ही खुश हैं। उन्होंने बताया उसने 10वीं 93 प्रतिशत अंकों के साथ उतीर्ण की थी। स्कूल के अध्यापकों ने मुझे सरकार के सुपर-100 कार्यक्रम के बारे में बताया और मुझे इसमें परीक्षा देने के लिए प्रेरित किया। मैंने सुपर-100 में चयन के लिए टेस्ट दिया और मेरा चयन हो गया। मैंने रेवाड़ी में नि:शुल्क कोचिंग ली। कोचिंग के दौरान किसी प्रकार की दिक्कत नहीं आई और सरकार की ओर से नि:शुल्क कोचिंग के साथ-साथ खाने-पीने व रहने की दूसरी सुविधाएं भी नि:शुल्क दी गई। उन्होंने बताया कि सरकार की सुपर-100 कार्यक्रम सरकारी स्कूलों के छात्रों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है।


इसी प्रकार सुपर-100 के तहत एनआईटी कुरूक्षेत्रा में दाखिला पा चुके युवराज ने बताया कि सुपर-100 सरकार का एक बेहतर कार्यक्रम है। उन्होंने बताया कि सुपर-100 के बदौलत ही आज मेरा एनआईटी कुरूक्षेत्रा में दाखिला हो पाया है। मैट्रिक के परीक्षा परिणाम आने उपरांत हमारी स्कूल की पिं्रसिपल ने मुझे प्रोत्साहित करते हुए सुपर-100 कार्यक्रम के बारे में बताया और इसमें चयन की परीक्षा के जरूरी टिप्स भी दिए। उन्होंने बताया कि रेवाड़ी संस्थान में कोचिंग के दौरान बहुत ही बढिया अनुभव रहे, क्योंकि मैं अपने आपको सभी टॉपर्स के बीच में पाकर बहुत खुश था। इसके साथ-साथ वहां पर कोचिंग दे रहे शिक्षकों का पढाने का अंदाज व शिक्षा के अनुकूल माहौल ने लगातार मुझे आगे बढने के लिए प्रेरित किया।

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अध्यापकों द्वारा छात्रों को सुपर-100 बारे किया जा रहा है मोटिवेट :


जिला शिक्षा अधिकारी संत कुमार ने बताया कि सुपर-100 कार्यक्रम के लिए अध्यापक छात्रों को प्रोत्साहित करते हैं और इसके टेस्ट के लिए प्रेरित करते हैं। अध्यापकों द्वारा कक्षा दसवीं में 80 प्रतिशत से अधिक अंक प्राप्त करने वाले सरकारी स्कूलों के छात्रों को सुपर 100 टेस्ट देने के लिए मोटिवेट किया जाता है तथा उन्हें प्रक्रिया के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी दी जाती है। इसके अलावा अभिभावकों को भी इसके बारे में जानकारी दी जाती है। सुपर 100 के लिए चयनित हुए छात्रों के स्कूल मुखिया से इन छात्रों के जरुरी दस्तावेज पूरे करवा कर संबंधित कोचिंग सैंटर में भेजे जाते हैं।