जब महिलाएं बिना दबाव के निर्णय लेने में सक्षम होगी तभी वास्तव में सशक्त होंगी-राकेश कुमार आर्या

प्रथम महिला शिक्षिका सावित्री बाई फुले की जयंती सशक्तिकरण दिवस के रुप में मनाई गई

सावित्रीबाई ने अपने जीवन को एक मिशन की तरह से जीया : डीसी अशोक गर्ग

डबवाली, 3 जनवरी।


            डा. बीआर अंबेडकर जन-जागृति मंच, मंडी डबवाली द्वारा कम्यूनिटी हाल में महिला भारत की प्रथम महिला शिक्षिका सावित्री बाई फुले की जयंती सशक्तिकरण दिवस के रुप में मनाई गई। कार्यक्रम का आरंभ उपायुक्त अशोक कुमार गर्ग ने सावित्रीबाई फुले की प्रतिमा पर माल्यार्पण व ज्योति प्रज्जवलित  करके किया।


                इस अवसर पर उपायुक्त अशोक कुमार गर्ग ने कहा कि सावित्रीबाई फुले भारत की एक महत्वपूर्ण समाज सुधारिका थी। उन्होंने अपने पति ज्योतिराव गोविंदराव फुले के साथ मिलकर स्त्रियों के अधिकारों एवं शिक्षा के लिए बहुत से कार्य किए। सावित्रीबाई भारत के प्रथम कन्या विद्यालय में प्रथम महिला शिक्षिका थी।


                उन्होंने कहा कि महात्मा ज्योतिबा को महाराष्ट्र और भारत में सामाजिक सुधार आंदोलन में एक सबसे महत्त्वपूर्ण व्यक्ति के रूप में माना जाता है। उनको महिलाओं और दलित जातियों को शिक्षित करने के प्रयासों के लिए जाना जाता है। ज्योतिराव, जो बाद में ज्योतिबा के नाम से जाने गए सावित्रीबाई के संरक्षक, गुरु और समर्थक थे। सावित्रीबाई ने अपने जीवन को एक मिशन की तरह से जीया जिसका उद्देश्य था विधवा विवाह करवाना, छुआछूत मिटाना, महिलाओं की मुक्ति और सभी महिलाओं को शिक्षित बनाना। आज से 160 साल पहले बालिकाओं के लिये जब स्कूल खोलना पाप का काम माना जाता था कितनी सामाजिक मुश्किलों से खोला गया होगा देश में एक अकेला बालिका विद्यालय।


                कार्यक्रम में सविता चौधरी, कंचन हरचंद, सीमा वर्मा, मीना गर्ग व लायन लेड़ी सुमन कामरा विशिष्ट अतिथि के रूप में मौजूद रहे। कार्यक्रम में सावित्रीबाई फुले के जीवन पर एक लघु डाक्यूमेंट्री भी दिखाई गई। डा. बीआर अंबेडकर कोचिंग सेंटर के विद्यार्थियों स्मृति, निशा, सिमरन व किरण ने कविताओं द्वारा महिलाओं की यथार्थ स्थिति का चित्रण किया। इस अवसर पर मनोज, प्रवीण एंड पार्टी ने एक स्किट व नारी शक्ति पर शानदार कोरियोग्राफी प्रस्तुत की। मास्टर मुल्ख सिंह, बूटा सिंह व मनप्रीत ने पुस्तकों की प्रदर्शनी लगाई। मंच संचालन कृष्ण कायत व रंगकर्मी संजीव शाद ने किया।


                कार्यक्रम के अंत में गुरदीप कामरा ने सभी का धन्यवाद किया। इस अवसर पर मंच के उपप्रधान अमरनाथ बागड़ी, सुभाष पटीर, जसदीप सिंह, पंकज सिढ़ाना, हरिप्रकाश शर्मा, केशव शर्मा, संजय खनगवाल, प्रमुख संस्थाओं के प्रतिनिधि व काफी संख्या में महिलाएं उपस्थित रहीं।


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