*Chandigarh Shines in Swachh Survekshan 2024–25; Enters the Super Swachh League Cities*

पोषण पखवाड़ा के तहत महिला एवं बाल विकास व स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से जिला संयोजक द्वारा करवाई गई विभिन्न गतिविधियां

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पंचकूला, 21 अप्रैल पोषण पखवाड़ा के तहत गवर्नमेंट मिडल स्कूल, निचली चैकी गाँव, पिंजौर में महिला एवं बाल विकास व स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से जिला संयोजक (पोषण अभियान) द्वारा विभिन्न गतिविधियां कारवाई गई व डॉक्टर आरती एवं टीम द्वारा स्कूल के विद्यार्थियों की स्वास्थ्य जांच की गई तथा उनका हीमोग्लोबिन टेस्ट किया गया।

इस अवसर पर जिला संयोजक के द्वारा पोषण के बारे में पूर्ण जानकारी दी गयी। जिसके अंतर्गत पोषण थाली के बारे में बताया गया जिसमे दाले, हरीपत्तेदार सब्जिया, अनाज, दूध व दूध से बने पदार्थ शामिल होने चाहिए।
उन्होने बताया कि जब बच्चो से सुबह के नाश्ते के बारे में पूछा गया तो पता चला की अधिकतर बच्चे सुबह का नाश्ता नही करते हैं। इस पर जिला संयोजक द्वारा उन्हें सुबह के नाश्ते का महत्व बताया गया कि वह पोष्टिक लड्डू लेकर भी कम समय में ज्यादा पोषण प्राप्त कर सकते है। किशोरियों को इस उम्र में पोषण की अधिक आवश्यकता होती है क्योंकि इस उम्र में शरीर में कई प्रकार के विकास व कई प्रकार के आंतरिक बदलाव होते है। इस उम्र में उनके द्वारा प्रोटीन, भरपुर मात्रा में लेना चाहिए जोकि वह अंकुरित दाले, मछली, अंडा इत्यादि से प्राप्त कर सकती है। उन्हें समय-समय पर एच बी टेस्ट करवाने व आयरन से भरपूर भोजन लेने के बारे में कहा गया जोकि चकुंदर, पपीता अमरुद आदि फल खाने से मिल सकता है तथा लोहे की कडाई में खाना बनाने से भी आयरन भरपूर मात्रा में मिलता है।

उन्होनेे बताया कि खाने के साथ विटामिन सी का कोई ना कोई स्रोत जरुर ले। इन चीजो के साथ योग को भी अपनी दिनचर्या में शामिल करे। इस मौके पर बच्चो को आयुर्वेदिक पोधो के बारे में भी बताया गया कि पौधे हमारे जीवन में कितना महत्व रखते है। उन्हें समझाया गया की स्वास्थ्य के साथ-साथ पौधो की भी देख-रेख करे ताकि आने वाली पीढ़ी को स्वच्छ वातावरण भी प्रदान किया जा सके क्यूंकि सही पोषण के साथ साथ स्वच्छ वातावरण भी समान रूप से आवश्यक है।

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