नशा त्याग कर युवा सजग प्रहरी बनकर राष्टï्र के विकास व स्वस्थ समाज के निर्माण में दें योगदान : आयुक्त विनय सिंह
आयुक्त विनय सिंह ने किया नशा मुक्त भारत अभियान का शुभारंभ
आयुक्त विनय सिंह ने कहा कि देश को हमारे ज्ञात-अज्ञात शहीदों व स्वतंत्रता सैनानियों ने अंग्रेजों की गुलामी से आजाद करवाया। 15 अगस्त के इस पावन पर्व पर युवा पीढ़ी देश व प्रदेश को नशे की गर्त से आजाद करवाने का संकल्प लें और इस पुण्ति कार्य में अपना अमूल्य योगदान दें, क्योंकि नशा मुक्त युवा ही सजग प्रहरी बनकर राष्टï्र के विकास व स्वस्थ समाज के निर्माण में अपनी सार्थक भूमिका निभा सकता है।
आयुक्त विनय सिंह शनिवार को स्थानीय चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय के ऑडिटोरियम में भारत सरकार के सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय द्वारा नशा मुक्त भारत अभियान के शुभारंभ अवसर पर आयोजित समारोह में उपस्थिजनों को संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर आयुक्त विनय सिंह, हरियाणा राज्य बाल कल्याण परिषद के मानद महासचिव कृष्ण ढुल, उपायुक्त रमेश चंद्र बिढ़ान, डीआईजी एवं पुलिस अधीक्षक डा. अरुण सिंह, सीडीएलयू के उप कुलपति प्रो. राजबीर सिंह सोलंकी ने दीप प्रज्जवलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ कियाा। इस दौरान जिला समाज कल्याण अधिकारी नरेश कुमार बत्रा, जिला बाल कल्याण अधिकारी पूनम नागपाल, सिविल सर्जन डा. सुरेंद्र नैन, पीओआईसीडीएस डा. दर्शना सिंह, वरिष्ठï भाजपा नेता श्याम बजाज, भूपेश मेहता, सुरेंद्र वैदवाला सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।
आयुक्त विनय सिंह ने स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि समाज रहने के लायक तभी बनेगा जब हम एकजुट होकर नशे का जड़ मूल से मिटाने का संकल्प लेंगे। उन्होंने कहा कि युवा ऐसे कार्यों में अपनी सकारात्मक ऊर्जा लगाएं जिससे सभ्य समाज का सृजन हो और राष्टï्र सुदृढ बन सके। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा पड़ोसी राज्यों की सरकारों के सहयोग से नशे पर पूर्ण अंकुश के लिए गंभीरता से प्रयास किए जा रहे हैं। इन प्रयासों को सार्थक बनाने में सरकार व प्रशासन के साथ-साथ नागरिकों को भी अपनी अहम भूमिका निभाते हुए पूर्ण योगदान देना होगा तभी हरियाणा प्रदेश को नशा मुक्त बनाने का सपना साकार होगा। आयुक्त ने अभिभावकों से भी आह्वïान किया कि वे अपने बच्चों को शिक्षा के साथ-साथ संस्कारों का भी ज्ञान दें और बच्चों से निरंतर संवाद के साथ-साथ उनकी रुचि व देखभाल का भी ख्याल रखें। उन्होंने कहा कि जिला में नशे से पीडि़तों को चिह्निïत किया जाए और उन्हें समाज की मुख्य धारा में लाने के लिए गंभीरता से कार्य करें। इसके साथ-साथ गांवों में जागरुकता कार्यक्रमों के अलावा नशे पर आधारित बनाई गई डॉक्यूमेंट्री फिल्में व नाटक भी दिखाए जाए, क्योंकि जो बातें शब्द बयां नहीं कर पाते वो चित्र बोल देते हैं, जिसका सीधा असर व्यक्ति की सोच पर पड़ता है और मानसिकता मे परिवर्तन आता है। उन्होंने नशे की गिरफ्त से निकलने वाले चाचा भतीजा बलविंद्र व महंगा सिंह को बधाई दी। उपायुक्त रमेश चंद्र बिढ़ान ने बलविंद्र व महंगा सिंह को 5100 रुपये की प्रोत्साहन राशि देकर उन्हें नशा छोडऩे पर बधाई दी। इस अवसर पर आयुक्त विनय सिंह ने उपस्थित जनों को नशा न करने और दूसरों को भी न करने देने की शपथ भी दिलवाई।
उपायुक्त रमेश चंद्र बिढ़ान ने कहा कि जीवन में ऊर्जा का बड़ा ही महत्व है, युवा नशे को त्याग कर अपनी ऊर्जा देश व प्रदेश हित में लगाएं। नशे का जहर कोरोना से भी ज्यादा खतरनाक है, क्योंकि नशे से ग्रस्त व्यक्ति के कारण पूरा परिवार ही बिखर जाता है। उन्होंने कहा कि आज नशा व्यक्तिगत समस्या नहीं है बल्कि इसके सामाजिक, आर्थिक व राष्ट्रीय दुष्प्रभाव है, इसलिए समाज के साथ-साथ हम सबको इस पर गहन विचार करना चाहिए और इस दिशा में सकारात्मक कदम उठाने चाहिए। उन्होंने युवाओं से खुद नशे से दूर रहने के अलावा अन्य लोगों को भी नशे के खिलाफ जागरूक करने तथा नशे के विरुद्ध अभियान में सक्रिय भागीदारी करने की भी अपील की। उन्होंने कहा कि युवा पीढ़ी अपने परिवार व समाज की मर्यादाओं, विश्वास व सम्मान को बनाए रखे तथा नशे से दूर रहे। उन्होंने कहा नशा न केवल युवा पीढ़ी को शारीरिक व मानसिक रूप से कमजोर करता है बल्कि यह देश को कमजोर करने का प्रयास है। उन्होंने युवाओं से अपील की कि वे नशे से दूर रहे और खेलों तथा शिक्षा की तरफ अग्रसर होकर देश की मजबूती में अपना योगदान दें। उन्होंने कहा कि मुनष्य को नियमित रुप से योगा, दौड़ जैसी शारीरिक गतिविधियां करते रहना चाहिए ताकि स्वास्थ्य अच्छा बना रहे। उपायुक्त ने कहा कि जो व्यक्ति नशे में लिप्त पांच व्यक्तियों को नशे की गिरफ्त से निकालेगा उसे 15 अगस्त के अवसर पर 5100 रुपये की राशि देकर पुरस्कृत किया जाएगा। उन्होंने कहा कि महंगा सिंह द्वारा दो लोगों को नशे की लत छुड़ाने का सराहनीय कार्य किया गया है, इसके लिए महंगा सिंह को विशेष रुप से सम्मानित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि नेहरु युवा क्लब भी नशा मुक्ति अभियान से जुड़ें। उन्होंने कहा कि शहर में वार्ड तथा गांवों में पंचायतें निगरानी समिति बनाएं और अपने-अपने क्षेत्रों में नशा संबंधी गतिविधियों पर कड़ी नजर रखें तथा नशे में लिप्त लोगों के नशे छुड़वाएं। उन्होंने कहा कि जो पंचायत अपने गांव को पूर्णत: नशा मुक्त बनाएगी उसे विकास व अन्य कार्यों के लिए 10 लाख रुपये की राशि दी जाएगी। उन्होंने कहा कि नशा मुक्त भारत अभियान को हमें प्रत्येक गांव, समूह, एनजीओ, स्कूल, महाविद्यालय तक लेकर जाना है ताकि जन-जन तक नशा मुक्ति का संदेश पहुंचाया जा सके। उन्होंने कहा कि मनुष्य जीवन अनमोल है, इसका अंत तो हम कभी भी कर सकते हैं लेकिन व्यस्नों / नशों से बचते हुए सकारात्मक सोच के साथ स्वस्थ रहते हुए जीवन जीना एक बहुत बड़ी उपलब्धि है। उन्होंने कहा कि नशा मुक्त करने के लिए जो शपथ दिलाई गई है उसे शपथ न समझे बल्कि वह एक सुगंध है, इस सुगंध को हमें हर ओर फैलाना है ताकि हम प्रदेश, समाज व जिला को नशा मुक्त बना सकें।
हरियाणा राज्य बाल कल्याण परिषद के मानद महासचिव कृष्ण ढुल ने कहा कि समाज में नशे की बढ़ती प्रवृति आज बेहद चिंता का विषय है। नशे का जड़ मूल से समाप्त करने के लिए हमें अपनी मानसिकता के साथ-साथ सकारात्मक दृष्टिï को अपनाते हुए समाज हित में जिला प्रशासन का सहयोग करना होगा। उन्होंने कहा कि नशे के सौदागर किसी न किसी रुप में हर मौहल्ले, हर गली में मिलेंगे। समाज को बिगाडऩे व भटकाने वाले ऐसे सौदागरों से युवाओं को सतर्क रहना चाहिए, क्योंकि नशा धीरे-धीरे व्यक्ति की सोच व मानसिकता को ही बदल देता है। उन्होंने कहा कि दुनियाभर में हरियाणा की पहचान दूध दही का खाना के रुप में होती है। इसके अलावा आज भी हमारी सशस्त्र सेनाओं में औसतन हर दसवां जवान हरियाणा से है और खेलों में अंतर्राष्टï्रीय व राष्टï्रीय स्तर पर भी मेडल हासिल करने में प्रदेश हमेशा अग्रणीय रहता है, फिर भी आज युवाओं का नशे की ओर बढऩे के कारणों पर हमें गंभीरता से चिंतन करना होगा। इसके लिए सभी समाज के लोग आगे आकर सामाजिक सरोकार व सेवा भाव से युवाओं को इस दलदल से निकालने में अपनी भूमिका निभाएं। उन्होंने बताया कि सिरसा जिला के कालांवाली में स्थित नशा मुक्ति केंद्र के माध्यम से पिछले पांच वर्षों के दौरान 8200 परिवारों को नशे की लत से मुक्त करवा कर मुख्यधारा में लाने का काम किया है, लेकिन इसमें ओर सुधार की जरुरत है। भारत सरकार के सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय द्वारा देशभर में नशा मुक्त भारत अभियान की शुरुआत की गई है, यह अभियान 31 मार्च 2021 तक चलेगा। अभियान के तहत देश में नशे से प्रभावित 272 जिले चुने गए हैं, इनमें हरियाणा के 10 जिलों को शामिल किया गया है, जिसमें जिला सिरसा भी शामिल है।
डीआईजी एवं पुलिस अधीक्षक डा. अरुण सिंह ने कहा कि जिला में नशे पर अंकुश लगाने के लिए जिला प्रशासन, समाजसेवी संस्थाओं व जागरुक नागरिकों के सहयोग से काफी गंभीरता से प्रयासरत है लेकिन सिरसा को नशामुक्त बनाने में और तेजी से कार्य करने की जरुरत है। उन्होंने समारोह में कलाकारों द्वारा ‘नशा एक अभिशापÓ का उदाहरण देते हुए कहा कि नाटक में तो नशे से एक परिवार के टूटने का संदेश दिखाया गया है लेकिन धरातल पर न जाने कितने परिवार नशे का दंश झेल रहे हैं। उन्होंने कहा कि सिरसा पुलिस प्रशासन द्वारा नशा बेचने वालों के खिलाफ पिछले एक साल के दौरान दोगुना एफआईआर दर्ज की गई है और नशा तस्करी रोकने के लिए रेड भी बढाई गई है। उन्होंने कहा कि आमजन के सुझाव पर सिरसा में पुलिस प्रशासन द्वारा तीन टोल फ्री नंबर 88140-11620, 88140-11624 व 88140-11675 जारी किए गए हैं जिनके माध्यम से सूचना देने वाले का नाम गुप्त रखा जाता है और सूचना पर तत्परता से कार्रवाई की जाती है। उन्होंने कहा कि नशा मुक्त बनाने के लिए जिला के 336 गांवों व 360 पंचायतों से तीन बार बातचीत की है। प्रदेश को नशामुक्त बनाने के लिए मुख्यमंत्री व डीजीपी गंभीर हैं और इसके लिए पड़ोसी राज्यों के साथ कई बार बैठकें की जा चुकी हैं। पुलिस प्रशासन जिला को नशा मुक्त बनाने के लिए पुरी निष्ठïा से कार्य कर रहा है। उन्होंने कहा कि अगर हमें अपनी आने वाली पीढ़ी को सुरक्षित रखना है तो इस ओर ध्यान देना बहुत जरुरी है।
सीडीएलयू के उप कुलपति प्रो. राजबीर सिंह सोलंकी ने कहा कि चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय से 200 महाविद्यालय से जुड़े हैं। अगस्त माह के अंत तक प्रत्येक महाविद्यालय और इनके शिक्षक व छात्र इस मुहिम में पूर्णत: भागीदार बनेंगे और नशा मुक्त अभियान को जन-जन तक पहुंचाएंगे। उन्होंने कहा कि मुझे इस कार्यक्रम में आकर बहुत खुशी हुई है और मैं विश्वास दिलाता हूं कि सीडीएलयू प्रशासन का नशा मुक्त भारत अभियान में हर प्रकार का योगदान देगी। उन्होंने कहा कि नशा करने वाला व्यक्ति सामाजिक तौर पर चेतना शुन्य हो जाता है तथा समाज में अपराध व घरेलू हिंसा जैसी गैर कानूनी हरकतों को भी बढ़ावा मिलता है। उन्होंने कहा कि नशीले पदार्थों के उपयोग से न सिर्फ व्यक्ति के मानसिक संतुलन पर प्रभाव पड़ता है बल्कि उसको भयंकर बीमारियों का भी सामना करना पड़ता है। उन्होंने कहा कि नशे से जन व धन की दोनों की हानी होती है।