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सीएमओ : तंबाकू सेवन से हर साल एक करोड़ लोगों की मौत

जींद:

 डिफैंस कालोनी स्थित राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय (गोल स्कूल) में शुक्रवार को विश्व तम्बाकू निषेध दिवस पर स्वास्थ्य विभाग के तत्वावधान में कार्यक्रम का आयोजन किया गया।

कार्यक्रम में नागरिक अस्पताल की सीएमओ डा. शशिप्रभा अग्रवाल व डिप्टी सीएमओ डा. राजेश भोला ने शिरकत की। इस दौरान बच्चों को जीवन में कभी भी धुम्रपान और तम्बाकू का सेवन न करने की शपथ दिलाई।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सीएमओ डा. शशिप्रभा अग्रवाल ने कहा कि विश्व स्वास्थ्य संगठन के आंकड़ों के अनुसार दुनियाभर में धूम्रपान करने वालों का 12 प्रतिशत भारत में है। देश में हर वर्ष एक करोड़ लोग तंबाकू के सेवन से होने वाली बीमारियों की चपेट में आकर अपनी जान गंवा देते हैं। 

किशोरों की बात करें तो 13 से 15 वर्ष के आयु वर्ग के 14.6 प्रतिशत लोग किसी न किसी तरह के तंबाकू का इस्तेमाल करते हैं। 30.2 प्रतिशत लोग इंडोर कार्यस्थल पर पैसिव स्मोकिंग के प्रभाव में आते हैं।  7.4 प्रतिशत रेस्टोरेंट में और 13 प्रतिशत लोग सार्वजनिक परिवहन के साधनों में धुएं के सीधे प्रभाव में आते हैं।

धूम्रपान न करने वाले किशोरों की बात करें तो इनमें 36.6 प्रतिशत लोग सार्वजनिक स्थानों पर और 21.9 प्रतिशत लोग घरों में पैसिव स्मोकिंग के दायरे में आते हैं।

मोटे अनुमान के अनुसार 90 प्रतिशत फेफड़े के कैंसर, 30 प्रतिशत अन्य प्रकार के कैंसर, 80 प्रतिशत ब्रोंकाइटिस, इन्फिसिमा एवं 20 से 25 प्रतिशत घातक हृदय रोगों का कारण धूम्रपान है।

भारत में जितनी तेजी से धूम्रपान के रूप में तंबाकू का सेवन किया जा रहा है उससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि हर साल तंबाकू सेवन के कारण कितनी जानें खतरे में हैं। 

डिप्टी सीएमओ डा. राजेश भोला ने कहा कि अबकी बार विश्व तंबाकू दिवस की थीम हम में है दम, तंबाकू को ना कहे हम है। इसलिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं ताकि आमजन तंबाकू के सेवन के दुष्प्रभावों से अवगत हो सके। क्योंकि तंबाकू का सेवन बहुत बुरी लत है और यह जानलेवा है। जो लोग धूम्रपान करते हैं या तंबाकू का सेवन किसी दूसरे तरीके से करते हैं, वो एक ना एक दिन गंभीर रोगों के अवश्य शिकार होते हैं।

जिंदगी से बढ़कर कुछ नहीं है और तंबाकू के कुछ कश लेने के आनंद में जिंदगी को दांव पर नहीं लगानी चाहिए। आंकडों पर गौर किया जाए तो दुनिया में हर छह सैकेंड में तंबाकू और धुम्रपान से एक शख्स जान गंवा रहा है। जबकि 24 घंटे में 2800 लोग भारत में धुम्रपान से मर रहे हैं। इसके अलावा एक सिगरेट का सेवन मनुष्य की जिंदगी के 11 मिनट खत्म कर देती है। 

स्कूल प्रिंसिपल सतबीर व डा. जयसिंह ने कहा कि तंबाकू का सेवन करने वाला अपना और पड़ोसी दोनों का दुश्मन है। अगर आप के पास कोई धूम्रपान करता है तो उसे तुरंत रोकिए क्योंकि वह आपकी जिंदगी की डोर को भी कमजोर कर रहा है।

हमे जीवन में कभी धूम्रपान नहीं करना चाहिए और जो भी धूम्रपान करता है उसे न करने के लिए प्रेरित करना चाहिए। डा. प्रभुदयाल ने कहा कि ग्रामीण और शहरों में युवा और बुजुर्ग हुक्का पीने की आदत बनाए हुए हैं जोकि उनके स्वस्थ्य के लिए हानिकारक है।

वह इस बुरी आदत को छोड़कर स्वस्थ और सुखी जीवन का आनंद लें। उन्होंने कहा कि छात्र अपनी नियमित दिनचर्या में प्राणायाम और योग को शामिल करें। हमेशा अपने स्वास्थ्य के बारे में सजग रहें। क्योंकि अच्छा स्वास्थ्य हमारे जीवन के समस्त सुखों का आधार होता है।

कार्यक्रम में छात्रों को तम्बाकू का सेवन न करने के लिए प्रेरित किया और धूम्रपान न करने के लिए जागरूक करते हुए शपथ दिलाई गई। इस मौके पर स्कूल प्रिंसिपल सतबीर, ऊषा, राजेश भारद्वाज, मैनेजर रवि मलिक, शरणजीत कौर, अश्विन, मनजीत शर्मा सहित स्टाफ के सभी सदस्य मौजूद रहे।

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मलेरिया के प्रति बनें जागरूक, पानी की टंकी व बर्तन को रखें साफ-सुथरा : सीएमओ

सिरसा, 25 अप्रैल।

एएनएम स्कूल में विश्व मलेरिया दिवस पर ‘जीरो मलेरिया-स्टॉर्ट विद मीÓ विषय पर जागरूकता कार्यक्रम आयोजित

आज स्थानीय जिला नागरिक हस्पताल स्थित ए.एन.एम. स्कूल में विश्व मलेरिया दिवस पर जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का विषय ‘जीरो मलेरिया-स्टॉर्ट विद मीÓ रहा। इस अवसर पर मुख्य अतिथि सिविल सर्जन डा. गोविन्द गुप्ता  थे। इस कार्यक्रम की अध्यक्षता उप सिविल सर्जन (वी.बी.डी.) डा. दीप ने की।  

सिविल सर्जन डा. गोविंद गुप्ता ने कहा कि आज का दिन विश्व मलेरिया दिवस के रूप में मनाया जा रहा है जिसका थीम है ‘जीरो मलेरिया-स्टॉर्ट विद मीÓ जिसमें आमजन को जागरूक किया जाएगा।  उन्होंने कहा कि इस दिवस का मुख्य उद्देश्य मलेरिया से लोगों को जागरूक और उनके जीवन की रक्षा करना है। विश्वभर में यह दिवस मलेरिया निवारण और नियंत्रण के लिए मनाया जाता है। 

उप सिविल सर्जन (वी.बी.डी.) डा. दीप ने छात्राओ को संबोधित करते हुए कहा कि मच्छर जनित रोग जैसे मलेरिया, डेंगू, चिकनगुनिया, कालाजार, जे.ई. से बचने के लिए सबसे पहले महत्वपूर्ण कार्य है कि हम मच्छर को पैदा ही न होने दें। इसके लिए अपने घरों में सीमेंट से बनी टंकियों को पूरी तरह ढक कर रखें। सप्ताह में एक बार टंकियों, कूलरों, गमलों, शौचालयों में पड़े घड़ों, छतों पर पड़े बेकार टायरों, पशु-पक्षियों के पानी पीने के बर्तनों व अन्य पानी के स्त्रोतों को खाली करे व रगड़कर साफ करे व फिर पानी भरे। 

उन्होंने कहा कि अपने घरों के आस-पास 7 दिनों से ज्यादा पानी खड़ा न होने दे। खड़े पानी में मच्छर अंडे देता हैं, जो 7 दिनों में पुन: मच्छर बनकर मलेरिया, डेंगू, चिकनगुनिया, कालाजार, जे.ई. जैसी खतरनाक बीमारियां फैलाता है। किसी भी बुखार की अनदेखी न करे, तुरन्त ख्ूान की जांच करवाए और मलेरिया पाए जाने पर पूर्ण उपचार (14 दिन तक) ले। इसके अतिरिक्त सिविल सर्जन द्धारा अच्छा कार्य करने वाले एमपीएचएस (मेल), एमपीएचडब्लयू (मेल) व एलटी को सम्मानित किया।

इस अवसर पर उप सिविल सर्जन डा. रोहताश, डा. बलेश, डा. आशा जिन्दल, डा. अनिशा, एएनएम स्कूल की प्रिसिपल व छात्राए, हैल्थ सुपरवाइजर देवेन्द्र मोंगा, केवल कृष्ण, धीरज कुमार, पुष्कर दत्त व अन्य स्टाफ उपस्थित थे।